हल आपके ही पास है
एक बार की बात है। एक बुजुर्ग एक गांव में रहता था। उसकी सफेद दाढ़ी और बाल दिव्यता का आभास कराता थे। पूरे गांव में सबसे बुद्धिमान उन्हीं बुजुर्ग को माना जाता था। लोग अपनी समस्याएं लेकर बुजुर्ग के पास आते, जिनका वे समाधान सुझाते। अक्सर लोगों की समस्याएं एक जैसी ही होती थीं। ऐसे ही एक दिन,पूरा गांव अपनी-अपनी समस्याओं को लेकर उन्हें घेरे बैठा था। उन्होंने एक चुटकुला सुनाया। सभी लोग ठहाका मारकर हंसे। पांच मिनट बाद उन्होंने वही चुटकुला दोबारा सुनाया। इस बार कुछ लोग हंसे, कुछ मुस्कुराकर रह गए। तीसरी बार उन्होंने जब वही चुटकुला सुनाया। तो एक भी शख्स गांव में नहीं हंसा, बल्कि हैरान होकर बुजुर्ग को देखने लगा। बुजुर्ग मुस्कुराया और बोला-जब आप एक ही चुटकुले पर बार-बार हंस नहीं सकते। तो एक ही समस्या को लेकर रोज क्यों रोते हो? क्यों नाहक दुखी होते हो। अब अपनी समस्याएं लेकर आए लोगों को अपनी परेशानियों का हल मिल चुका था। वे मुस्कुराते हुए अपने-अपने घरों को लौट गए।
सीख- जो वश में नहीं है, उसके बारे में चिंता करने से कुछ भी नहीं होगा।
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